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Friday, December 3, 2021

उम्मीद, ✍️ हेमंत कुमार

उम्मीद 🌄🌄

"खतरा" टल रहा है, टल भी जाएगा....

उम्मीद है "वो" दौर कभी ना आएगा....

लेकिन उसका "डर" मन से ना जाएगा....

कहीं "वो" फिर लौट के तो ना आएगा....


पर सुना है ये "वायरस" अब यहां से ना जाएगा....

"इसके" ढंग में ढलना ही बस अब काम आएगा....

इतने दिन में जो "सीखा" है कही भूल तो ना जाएगा....

"कुदरत" को सहेज के रखना ही हमारे काम आएगा....


अब प्रण कर....!!!

अपनी सेहत का अब विशेष ख्याल रखा जाएगा....

आज का अच्छा खाया ही कल तेरे काम आएगा....

वर्जिश गर तू करेगा, सुबह की सैर पे भी तू जायेगा....

फिर क्या मजाल कि कोई वायरस तेरे पास आएगा....


"खतरा" टल रहा है, टल भी जाएगा....

उम्मीद है "वो" दौर कभी ना आएगा....

लेकिन उसका "डर" मन से ना जाएगा....

कहीं "वो" फिर लौट के तो ना आएगा....

☘️☘️


✍️ हेमंत कुमार

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